Apaharaṇa

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Bhāvanā Prakāśana, 1973 - 180 pages

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Contents

Section 1
1
Section 2
13
Section 3
42

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Common terms and phrases

अचानक अन्दर अपने अब अभी अमर आई आगे आप आया आवाज़ आश्चर्य इस उठी उत्तर उस उसका उसकी उसके उसने उसे एक और फिर कमरे कर कहते कहा का किया किसी की ओर की पत्नी ने कुछ के चेहरे पर के पास के लिए को कोई क्या क्यों खड़ा खड़ी खिड़की गई गये घर चाय जब जा जाने जैसे जो झूठ ठीक तक तुम तू तो था कि थे दरवाजे दिया दी दूसरे दृष्टि दृष्टि से दे देख देखा दो दोनों नंदिनी के नन्दिनी नहीं पर विकास पूछा बगल बरामदे में बात बार बाहर बोल उठा बोला बोली भाव भी मन मस्तिष्क मीना ने मुझे मैं मौन यह ये रह रहा था रही थी रहे रुक लगा लगी वकील की पत्नी वकील ने वह विकास ने वो संभवतः सका सच सब सामने साहब सिर सुनाई से स्पष्ट स्वर में हाँ हाथ ही हुआ हुई हुए हूँ है हैं

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