Maithilīśaraṇa Gupta kr̥ta "Jayabhārata" kā samīkshātmaka adhyayana

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Navarāja Prakāśana, 2003 - 128 pages
Study of Jaya Bhārata, poem by Maithili Sarana Gupta, 1886-1964, Hindi author.

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Contents

जयभारत संरचना सूत्र
9
कथा स्रोत क्रम
20
भावव्यंजना
90
Copyright

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Common terms and phrases

अध्याय अपना अपनी अपने अर्जुन इस प्रकार इसी उनके उन्हें उन्होंने उस उसके उसने उसे एक एकलव्य और कर करता करते करना करने कर्ण कवि ने कहती है कहते हैं कहा का वर्णन काव्य किया गया किया है किसी की कथा कुछ कुन्ती कृष्ण के पास के लिए के साथ को कौरव क्या गई गए गया है गांधारी गुप्तजी ने चित्र जब जयभारत जाता है जाने जीवन जो तक तथा तब तुम तो था थी थे दिया दुर्योधन दो द्रुपद द्रोणाचार्य द्रौपदी द्वारा धर्म धृतराष्ट्र नकुल नहीं नहीं है नहुष पर परन्तु पाण्डव पाण्डवों पुत्र प्रसंग बहुत बात भी भीम भीष्म महाभारत में मुझे में ही मेरे मैं यदि यह यहां युद्ध युधिष्ठिर युधिष्ठिर ने रहे राजा रूप में लिया लेकर वह वहां विदुर वे शान्तनु श्रीकृष्ण सकता सब सभी समय सर्ग में से स्वयं हम हिडिम्बा ही हुआ हुई हुए हूं है और है कि हैं हो होकर होने

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